UP Board Solutions for Class 8 History Chapter 5 प्रथम स्वतंत्रता संग्राम-कारण एवं परिणाम

UP Board Solutions for Class 8 History Chapter 5 प्रथम स्वतंत्रता संग्राम-कारण एवं परिणाम

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प्रथम स्वतंत्रता संग्राम-कारण एवं परिणाम

अभ्यास

प्रश्न 1.
बहुविकल्पीय प्रश्न
(1) 1857 ई० की क्रांति के लिए तिथि निश्चित की गई
(क) 8 अप्रैल 1857 ई०
(ख) 31 मई 1857 ई०
(ग) 10 मई 1857 ई०
(घ) 1 जून 1857 ई०

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(2) बहादुरशाह द्वितीय की मृत्यु हुई
(क) रंगून में
(ख) कानपुर में
(ग) झाँसी में
(घ) लखनऊ में :

प्रश्न 2.
अतिलघु उत्तरीय प्रश्न
(1) 1835 ई० में कम्पनी के सिक्कों से किसका नाम हटा दिया गया?
उत्तर
1835 ई० में कम्पनी के सिक्कों से मुगल सम्राट बहादुरशाह जफर का नाम हटा दिया गया।

(2) सन् 1857 ई० की क्रांति की शुरूआत कहाँ से हुई?
उत्तर
सन् 1857 ई० की क्रांति की शुरूआत बैरकपुर से हुई।

(3) बंगाले छावनी के किस सिपाही ने कारतूस का प्रयोग करने से मना कर दिया था?
उत्तर
बंगाल छावनी के सिपाही मंगल पाण्डे ने कारतूस का प्रयोग करने से मना कर दिया था।

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प्रश्न 3.
लघु उत्तरीय प्रश्न
(1) 1857 ई० की क्रांति के चार कारण लिखिए।
उत्तर
(क) राजनैतिक कारण- अँग्रेजों की युद्ध नीति, लॉर्ड वेलेजली द्वारा चलाई गई सहायक सन्धि नीति तथा लॉर्ड डलहौजी की लैप्स नीति के परिणामस्वरूप बंगाल, बिहार, उड़ीसा, अवध, हैदराबाद, म्यांमार (बर्मा), पंजाब, सतारा, नागपुर, झाँसी आदि भारतीय रियासतों को हड़प लिया गया। अँग्रेजों ने ‘ग्राम स्वराज्य’ (पंचायतों) को समाप्त करके (UPBoardSolutions.com) लोगों को गुलामी की जंजीरों में जकड़ लिया, जिससे राजनैतिक असंतोष फैल गया।

(ख) आर्थिक शोषण- अंग्रेजों ने भारतीय व्यापार तथा दस्तकारियों को नष्ट कर दिया। वे भारत से कच्चा माल कौड़ियों के भाव खरीद लेते थे और अपने कारखानों में उसे संशोधित कर तैयार माल को भारत के बाजारों में ऊँचे दामों पर बेचते थे। अँग्रेजों की भूमि-कर नीति के बाद भारत में अकाल पड़े और बेरोजगारी फैल गई। उच्च सरकारी नौकरियों के दरवाजे भारतीयों के लिए बन्द कर दिए गए।

(ग) धार्मिक हस्तक्षेप- अँग्रेजों ने बड़ी संख्या में भारतीयों को ईसाई बना लिया। एक कानून द्वारा धर्म-परिवर्तन करने वालों को पैतृक सम्पत्ति में हिस्सा देने का निर्णय लिया गया। इससे अँग्रेजों ने ईसाई बनने वालों के हितों की रक्षा की। भारतीय हिन्दुओं तथा मुसलमानों में असन्तोष का यह एक प्रमुख कारण था।

(घ) सामाजिक कारण- अँग्रेज साम्राज्यवादी नीति पर चलकर अपने स्वार्थ को पाल रहे थे। घूस और भ्रष्टाचार का बाजार गर्म था। अँग्रेजों ने पंचायत व्यवस्था को भी समाप्त कर दिया। इससे न्याय महँगा हो गया और देर से मिलने लगा। नई भूमि-कर व्यवस्था से भी किसानों का शोषण हुआ, जिससे अँग्रेजों के विरुद्ध जन-असंतोष का बढ़ना स्वाभाविक था।

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(2) 1857 ई० की क्रांति की असफलता के कारण लिखिए।
उत्तर
1857 ई० की क्रान्ति की असफलता के कारण

  1. क्रान्ति की असफलता का सबसे बड़ा कारण किसी निश्चित योजना तथा केन्द्रीय संगठन का न होना था, जिससे स्थानीय विद्रोह एक-दूसरे से जुड़कर राष्ट्रव्यापी स्वरूप धारण न कर सका।
  2. सारे देश में एक निश्चित तिथि को क्रान्ति का प्रारम्भ न होना (UPBoardSolutions.com) भी विद्रोहियों की हार का एक कारण था।
  3. यातायात के प्रमुख साधनों (विशेषकर रेलों) तथा डाक-तार व्यवस्था पर अँग्रेजों को अधिकार था। इससे वे अपने सैनिकों को युद्ध के स्थानों पर शीघ्र पहुँचा देते थे। उन्हें संचार साधनों से विद्रोहियों की गतिविधियों का तुरन्त पता चल जाता था और वे समय रहते ही उनसे निपटने की योजना बना लेते थे।
  4. अँग्रेजों को अपने मातृदेश इंग्लैण्ड से निरन्तर जन, धन तथा सामरिक सामग्री की पूरी सहायता मिलती रही, जिससे उनकी स्थिति मजबूत बनी रही और उनका मनोबल ऊँचा रहा।
  5. अँग्रेजों की अपेक्षा क्रान्तिकारियों के नेता अनुभवहीन तथा अयोग्य थे।
  6. बहुत-से भारतीय नरेशों ने भी अँग्रेजों का साथ दिया।

प्रश्न 4.
दीर्घ उत्तरीय प्रश्न
(1) 1857 ई० की क्रांति की प्रमुख घटनाओं के बारे में लिखिए।
उत्तर
1857 ई० की क्रांति की प्रमुख घटनाएँ निम्नलिखित हैं-
बैरकपुर में लार्ड कैनिंग ने चर्बीयुक्त कारतूस के प्रयोग के लिए भारतीय सैनिकों के साथ धोखाधड़ी की। 29 मार्च, 1857 को बंगाल छावनी के सिपाही मंगल पाण्डे ने कारतूस के प्रयोग से मना कर दिया तथा अपने साथियों को विद्रोह के लिए संगठित किया। इसके परिणाम स्वरूप मंगल पाण्डे को फाँसी दे दी गयी।

मेरठ में 9 मई की घटना के अनुसार 90 में से 85 सिपाहियों ने कारतूस में दाँत लगाने से मना कर दिया। इस कारण इन सिपाहियों को दस वर्ष की जेल की सख्त सजा दी गयी। 19 मई, 1857 को मेरठ में तैनात पूरी (UPBoardSolutions.com) भारतीय सेना ने विद्रोह कर दिया तथा जेल पर धावा बोलकर अपने साथियों को छुड़ा लिया और कई अंग्रेज अधिकारियों को मार डाला।

बहराइच में हजारों सैनिकों ने दिल्ली की ओर कूच किया। वहाँ के लोग उनके साथ मिलकर लालकिले पहुँचे। वहाँ पहुँचकर बहादुरशाह-द्वितीय को भारत का शासक घोषित कर दिया।

बरेली में खान बहादुर खान ने क्रांति का नेतृत्व किया उन्होंने स्वयं को नवाब घोषित कर दिया। कैम्पबेल के नेतृत्व में यहाँ की क्रांति को दबाया गया तथा खान बहादुर खान को फाँसी दे दी गई।

कानपुर में नाना साहब पेशवा घोषित कर दिए गए। अजीम उल्ला खाँ नाना साहब का सहयोगी था। नाना साहेब ने अंग्रेजों की सारी फौज को कानपुर से खदेड़ दिया।

आजमगढ़ में स्वतंत्रता संग्राम का नेतृत्व बाबू कुँवर सिंह ने किया। अतरौलिया नामक स्थान पर उन्होंने मिलमैन एवं डेन्स की संयुक्त अंग्रेजी सेना को पराजित किया। युद्ध में लड़ते-लड़ते 26 अप्रैल, 1858 ई० को इनकी मृत्यु हो गई।

झाँसी में रानी लक्ष्मी बाई सर हयूरोज की सेना के साथ बहादुरी से लड़ीं किन्तु झाँसी पर अंग्रेजों ने अधिकार कर लिया। रानी बहादुरी से लड़ते हुए मारी गयीं।

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प्रोजेक्ट वर्क-
विद्यार्थी स्वयं करें।

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UP Board Solutions for Class 8 History Chapter 4 भारत में कंपनी राज्य का प्रभाव

UP Board Solutions for Class 8 History Chapter 4 भारत में कंपनी राज्य का प्रभाव

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भारत में कंपनी राज्य का प्रभाव

अभ्यास

प्रश्न 1.
बहुविकल्पीय प्रश्न
(1) रेग्यूलेटिंग एक्ट बनाया गया
(क) 1773 ई० में 
(ख) 1784 ई० में
(ग) 1857 ई० में
(घ) 1770 ई. में

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(2) एशियाटिक सोसाइटी की स्थापना की-
(क) राजाराम मोहन राय ने
(ख) विलियम जोन्स ने 
(ग) क्लाइव ने
(घ) लार्ड मैकॉले ने

प्रश्न 2.
अतिलघु उत्तरीय प्रश्न ।
(1) बंगाल में दोहरी शासन व्यवस्था किसने शुरू की?
उत्तर
बंगाल पर नियंत्रण होने के बाद क्लाइव ने बंगाल में दोहरी शासन व्यवस्था शूरू की।

(2) फोर्ट विलियम कॉलेज की स्थापना कहाँ हुई थी?
उत्तर
1801 में कोलकाता में फोर्ट विलियम कॉलेज की स्थान हुई थी।

(3) सुप्रीम कोर्ट की स्थापना किस गर्वनर जनरल के समय में हुई?
उत्तर
सुप्रीम कोर्ट की स्थापना गर्वनर जनरल वारेन हेस्टिंग्स के समय में हुई।

प्रश्न 3.
लघु उत्तरीय प्रश्न
(1) पिट्स इण्डिया एक्ट के बारे में लिखिए?
उत्तर
ब्रिटिश संसद ने 1784 ई० में एक नया कानून पारित किया जो पिट्स इण्डिया एक्ट कहलाया। इस अधिनियम के द्वारा ब्रिटेन में एक नियंत्रण परिषद (बोर्ड ऑफ कंट्रोल) की स्थापना हुई। इस परिषद के द्वारा ब्रिटिश (UPBoardSolutions.com) सरकार को भारत में कंपनी के सैनिक, असैनिक तथा राजस्व संबंधी मामलों में एकाधिकार प्राप्त हो गया। गर्वनर जनरल को भारत स्थित सभी ब्रिटिश फौजों का मुख्य सेनापति बनाया गया।

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(2) स्थायी बंदोबस्त क्या था?
उत्तर
अधिक मालगुजारी वसूल करके देने वाले को नीलामी बोली के आधार पर उन्हें तथा उनके पुत्रों को आजीवन उस गाँव का जमींदार घोषित कर दिया। यही जमींदारी प्रथा या स्थायी बंदोबस्त कहलाता है।

(3) अंग्रेजों ने भारतीय उद्योगों को किस प्रकार नष्ट किया?
उत्तर
अंग्रेजों ने भारत से कच्चा माल- सूत और कपास ले जाकर अपने यहाँ मशीनों द्वारा वस्त्र निर्माण करके भारत में लाकर बेचना आरंभ कर दिया। इस सस्ते और अच्छे कपड़े का सामना भारतीय उद्योग नहीं कर सके और यहाँ के कारीगर बेकार हो गए। इस प्रकार अंग्रेजों ने भारतीय उद्योगों को नष्ट किया।

प्रश्न 4.
दीर्घ उत्तरीय प्रश्न
(1) अंग्रेजों द्वारा भारत में किए गए भूमि सुधारों के बारे में लिखिए?
उत्तर
अंग्रेज सरकार अपनी आमदनी बढ़ाने के लिए मालगुजारी (भूमिकर) वसूल करने के तरीकों पर भी विचार करने लगी। वारेन हेस्टिंग्स ने यह नियम बनाया कि गाँवों की मालगुजारी वसूल करने के लिए किसी को ठेका दे दिया जाये और यदि मालगुजारी वसूल करने वाले का काम ठीक न हो तो दूसरे व्यक्ति को यह काम सौंप दिया जाय। लार्ड कार्नवालिस ने इस प्रथा में निम्न सुधार किए –

(क) स्थायी बंदोबस्त लागू-उसने अधिक से अधिक मालगुजारी वसूल करके देने वाले को नीलामी बोली के आधार पर उन्हें तथा उनके पुत्रों को आजीवन (स्थायी रूप से) उस गाँव का जमींदार घोषित कर दिया। यही जमींदारी प्रथा या स्थायी बंदोबस्त कहलाता है। अब यही लोग जमीन के मालिक हो गये किन्तु यह स्वामित्व तभी तक रहता जब तक वे मालगुजारी देते रहते थे। उन्हें जमीन जोतने-बोने वाले काश्तकारों को हटाने और उनसे जमीन छीन लेने का भी अधिकार था। यह प्रथा बंगाल, उड़ीसा और अवध प्रान्तों में प्रारम्भ की गयी।

(ख) रैयतवाड़ी प्रथा-दक्षिण भारत के मद्रास प्रांत में मालगुजारी देने का उत्तरदायित्व रैयत (काश्तकार) को सौंपा गया। मालगुजारी की धनराशि लगभग 30 वर्ष के लिए निश्चित कर दी गयी। रैयत अपनी (UPBoardSolutions.com) उपज का लगभग आधा भाग सरकार को मालगुजारी के रूप में देता था।

(ग) महालवाड़ी प्रथा-उत्तर प्रदेश के पश्चिम में दिल्ली और पंजाब के आस-पास, मालगुजारी कई गाँवों के समूह के स्वामियों से वसूल की जाती थी, ये समूह ‘महाल’ कहलाते थे। इसलिए इस प्रथा को महालवाड़ी प्रथा कहते हैं। सरकार ‘महाल’ पर स्वामित्व रखने वाले से मालगुजारी वसूल करने का समझौता करती थी। प्रोजेक्ट वर्क- विद्यार्थी स्वयं करें।

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UP Board Solutions for Class 8 History Chapter 3 भारत में कंपनी राज्य का विस्तार

UP Board Solutions for Class 8 History Chapter 3 भारत में कंपनी राज्य का विस्तार

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भारत में कंपनी राज्य का विस्तार

अभ्यास

प्रश्न 1.
बहुविकल्पीय प्रश्न
उत्तर
(1) विलय नीति का सम्बन्ध है-
(क) नाना साहब से
(ख) डलहौजी से
(ग) टीपू सुल्तान से
(घ) हैदर अली से

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(2) पानीपत के तृतीय युद्ध में मराठा संघ को पराजित किया-
(क) अहमदशाह अब्दाली ने 
(ख) नादिरशाह ने
(ग) शाहशुजा ने
(घ) जमाल खाँ ने

प्रश्न 2.
अतिलघु उत्तरीय प्रश्न
(1) प्रथम आंग्ल मैसूर युद्ध किसके बीच हुआ?
उत्तर
प्रथम आंग्ल मैसूर युद्ध हैदरअली और अंग्रेजों के बीच हुआ।

(2) टीपू सुल्तान ने श्री रंग पट्ट्टम की संधि किस सन् में की?
उत्तर
टीपू सुल्तान ने श्री रंग पट्टम की संधि सन् 1792 में की थी।

प्रश्न 3.
लघु उत्तरीय प्रश्न
(1) प्रथम मराठा युद्ध के बारे में लिखिए?
उत्तर
अंग्रेजों और मराठों के बीच प्रथम मराठा युद्ध (1775 से 1782 ई०) हुआ जो 7 वर्षों तक चला। किंतु नाना फड़नवीस के कुशल नेतृत्व तथा मराठों की सैन्य शक्ति के आगे अंग्रेजों को अधिक सफलता न मिल सकी। अंत में सालबाई नामक स्थान पर सन् 1782 ई० में दोनों पक्षों के बीच संधि हो गई।

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(2) सहायक संधि क्या थी?
उत्तर
सहायक संधि के अंतर्गत देशी राजाओं पर यह दबाव डाला गया (UPBoardSolutions.com) कि वे अंग्रेजों के संरक्षण में आ जाएँ और उसके बदले में अंग्रेजी राज्य उनकी आंतरिक सुरक्षा एवं वाह्य शक्तियों से रक्षा करने का उत्तरदायित् अपने ऊपर लेगा।

प्रश्न 4.
दीर्घ उत्तरीय प्रश्न
(1) डलहौजी की राज्य हड़पने की नीति क्या थी? इस नीति के क्या उद्देश्य थे?
उत्तर
लॉर्ड हार्डिंग के पश्चात् 1848 ई० में लॉर्ड डलहौजी भारत का गवर्नर-जनरल नियुक्त हुआ। उसका उद्देश्य ब्रिटिश साम्राज्य को बढ़ाना था। वह उस कार्य को पूरा करना चाहता था, जिसे राबर्ट क्लाइव ने शुरू किया था। ब्रिटिश साम्राज्य को बढ़ाने के लिए अधिक-से-अधिक देशी राज्यों को ब्रिटिश साम्राज्य में सम्मिलित करने लगा। उसकी इस नीति की प्रमुख बात यह थी कि यदि कोई राजा नि:सन्तान मर जाता था तो उसका राज्य कम्पनी के अधीन हो जाया करता था। यद्यपि गोद लेने की स्वीकृति भी दी गई थी परन्तु इसमें भी शर्त यह थी कि बिना कम्पनी सरकार की पूर्व स्वीकृति के गोद नहीं लिया जा सकता था। साथ ही कम्पनी (UPBoardSolutions.com) स्वीकृति देने के लिए बाध्य भी नहीं थी। यह अनुमति दे भी सकती थी और नहीं भी दे सकती थी। इस प्रकार अँग्रेजों को अनेक राज्यों को हड़पने का बहाना मिल गया। लॉर्ड डलहौजी की इसी नीति को ‘राज्य हड़पने की नीति’ कहा जाता है। उसकी यह नीति अँग्रेजों के लिए बहुत लाभकारी सिद्ध हुई। इसी नीति के परिणामस्वरूप पूरे भारतवर्ष में ब्रिटिश साम्राज्य स्थापित हो गया।

लॉर्ड डलहौजी की राज्य हड़पने की नीति के निम्नलिखित उद्देश्य थे-

  1. इनका सर्वप्रथम उद्देश्य ब्रिटिश साम्राज्य को बढ़ाना था।
  2. व्यापार में मनमानी करना तथा सस्ते दरों पर कच्चा माल खरीदना।
  3. अपना सामान भारत के बाजारों में ऊँची कीमतों पर बेचना।
  4. भारत की जनता के बीच फूट डालकर एक-दूसरे के बीच भेदभाव पैदा करना तथा अपनी महत्त्वाकांक्षा को पूरा करना।

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UP Board Solutions for Class 8 History Chapter 10 अंग्रेज भारत छोड़ने को विवश

UP Board Solutions for Class 8 History Chapter 10 अंग्रेज भारत छोड़ने को विवश

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अंग्रेज भारत छोड़ने को विवश

अभ्यास

प्रश्न 1.
बहुविकल्पीय प्रश्न
(1) भारतीय स्वाधीनता अधिनियम पारित हुआ
(क) 1945 ई० में
(ख) 1947 ई० में
(ग) 1946 ई० में
(घ) 1942 ई० में

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(2) फारवर्ड ब्लॉक का संबंध है-
(क) राम मनोहर लोहिया
(ख) जय प्रकाश नारायण
(ग) अरूणा आरू अली
(घ) सुभाष चन्द्र बोस

प्रश्न 2.
अतिलघु उत्तरीय प्रश्न
(1) सत्याग्रह करने वाले पहले व्यक्ति कौन थे?
उत्तर
सत्याग्रह करने वाले पहले व्यक्ति विनोबा भावे थे।

(2) ‘तुम मुझे खून दो, मैं तुम्हें आजादी दूंगा, यह कथन किसका है?
उत्तर
यह कथन सुभाष चन्द्र बोस का है?

प्रश्न 3.
लघु उत्तरीय प्रश्न
(1) अंग्रेज भारत छोड़ने के लिए क्यों विवश हुए? किन्हीं तीन कारणों को लिखिए।
उत्तर
अंग्रेजों के भारत छोड़ने के तीन मुख्य कारण निम्न हैं

  1. अमेरिका और रूस यह दोहराते रहे कि द्वितीय विश्व युद्ध स्वतन्त्रता और लोकतन्त्र की रक्षा के लिए लड़ा जा रहा था। वे नैतिक रूप से भारत की स्वतन्त्रता का समर्थन करने को बाध्य थे।
  2. इंग्लैण्ड में लेबर पार्टी सत्ता में आई। उसने भारत और विश्व की परिस्थितियों को ध्यान में रखकर भारत को स्वतन्त्र करने की घोषणा की।
  3. द्वितीय विश्वयुद्ध के बाद अँग्रेजों की सैन्यशक्ति घट गई थी। उनके उपनिवेशों में स्वतन्त्रता की निरन्तर माँग बढ़ रही थी। आजाद हिन्द फौज ने सैनिक विद्रोह को प्रेरणा दी। मुम्बई में नौसैनिक (UPBoardSolutions.com) विद्रोह हुआ। विश्व जनमत भारत के साथ था। संयुक्त राष्ट्र संघ, जिसके संस्थापकों में भारत भी था, भारतीय स्वतन्त्रता की उपेक्षा नहीं कर सकता था।

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(2) कैबिनेट मिशन से आप क्या समझते हैं?
उत्तर
जुलाई 1945 में ब्रिटेन में संसद के चुनाव में सरकार बदल गई। वहाँ मजदूर दल के नेता एटली ब्रिटेन के प्रधानमंत्री बने। मजदूर दल के नेता भारत की स्वतंत्रता के पक्षधर थे। इन परिस्थितियों में इंग्लैण्ड के प्रधानमंत्री क्लीमेन्ट एटली ने भारतीय नेताओं से विचार-विमर्श करने के लिये अपने मंत्रि मण्डल की ओर से कुछ सदस्यों की एक समिति 1946 ई० में भारत भेजी। इस समिति को कैबिनेट मिशन’ कहते हैं।

प्रश्न 4.
दीर्घ उत्तरीय प्रश्न
(1) 1935 ई० के अधिनियम के अंतर्गत प्रांतों की सरकार क्यों गठित की गई?
उत्तर
सन् 1935 ई० में अंग्रेजों ने भारतीयों को प्रसन्न करने के लिए सन् 1935 ई० का अधिनियम पारित किया। इसके अंतर्गत प्रांतों को कुछ सीमा तक स्वायत्ता प्रदान की गई थी। प्रांतों में प्रांतीय स्वायत्ता की व्यवस्था की गई। केंद्र में अखिल भारतीय संघ की स्थापना की गई। इस संघ में भारत के प्रांतों तथा देशी रियासतों (रजवाड़ों) को शामिल किया गया। यह भी (UPBoardSolutions.com) व्यवस्था की गई कि केंद्र की विधायिका में देशी राजाओं द्वारा मनोनीत प्रतिनिधि भी रहेंगे। अतः इस अधिनियम के अंतर्गत प्रांतों की सरकार गठित की गई।

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UP Board Solutions for Class 8 History Chapter 9 स्वाधीनता आन्दोलन-स्वतन्त्रता प्राप्ति एवं विभाजन

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स्वाधीनता आन्दोलन-स्वतन्त्रता प्राप्ति एवं विभाजन

अभ्यास

प्रश्न 1.
बहुविकल्पीय प्रश्न
(1) रोलेट एक्ट पास किया-
(क) सन् 1917 ई० में
(ख) सन् 1918 ई० में
(ग) सन् 1919 ई० में
(घ) सन् 1920 ई० में

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(2) प्रथम गोलमेज सम्मेलन हुआ-
(क) सन् 1931 ई० में।
(ख) सन् 1930 ई० में
(ग) सन् 1934 ई० में
(घ) सन् 1929 ई० में।

प्रश्न 2.
अतिलघु उत्तरीय प्रश्न
(1) गांधी जी ने सत्याग्रह आंदोलन किस सन् में शुरू किया?
उत्तर
गांधी जी ने सत्याग्रह आंदोलन सन् 1919 में शुरू किया।

(2) 13 अप्रैल, 1919 को कौन सी घटना घटी थी?
उत्तर
13 अप्रैल, 1919 को जलियाँवाला बाग हत्याकांड की घटना घटी थी।

(3) 5 मार्च, 1931 ई० को सरकार और कांग्रेस में कौन-सा समझौता हुआ?
उत्तर
5 मार्च, 1931 ई० को सरकार और कांग्रेस में एक समझौता हुआ जिसे गांधी-इरविन समझौता कहते हैं।

प्रश्न 3.
लघु उत्तरीय प्रश्न
(1) डाँडी यात्रा किसने और क्यों की थी?
उत्तर
डाँडी यात्रा गांधी जी ने की। उन्होंने डाँडी नामक स्थान पर (UPBoardSolutions.com) नमक बनाया और ब्रिटिश सरकार के सामने एक बड़ी चुनौती खड़ी कर दी।

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(2) होमरूल लीग स्थापित करने का क्या उद्देश्य था?
उत्तर
सन् 1914 ई० में लोकमान्य तिलक ने होमरूल लीग की स्थापना की। इसका उद्देश्य अँग्रेजी साम्राज्य के अधीन रहते हुए भारतीयों को अपनी शासन करने की स्वतन्त्रता देना था।

(3) रवीन्द्र नाथ टैगोर ने अपनी ‘सर’ की उपाधि क्यों वापस कर दी? .
उत्तर
जलियाँवाला बाग हत्याकांड के विरोध में रवीन्द्रनाथ टैगोर ने अपनी ‘सर’ की उपाधि वापस कर दी।

प्रश्न 4.
दीर्घ उत्तरीय प्रश्न
(1) असहयोग आंदोलन के बारे में लिखिए?
उत्तर
असहयोग आन्दोलन- प्रथम विश्वयुद्ध समाप्त होने पर अंग्रेजों द्वारा अपना वायदा पूरा न किए जाने पर महात्मा गांधी ने 1920 ई० में नया आन्दोलन छेड़ा, उसे ‘असहयोग आन्दोलन’ का नाम दिया गया। इस आन्दोलन का उद्देश्य विभिन्न क्षेत्रों में सरकार को सहयोग न देना था। गांधी जी ने इस आन्दोलन को देश में अँग्रेजी शासन को ठप्प करने (UPBoardSolutions.com) के उद्देश्य से चलाया था। इस आन्दोलन के कार्यक्रम को प्रस्तुत करते हुए महात्मा गांधी ने कहा था, “कांग्रेस के इस कार्यक्रम को लोग पूरा कर दें तो स्वराज्य एक ही वर्ष में पूरा हो जाएगा।”

असहयोग आन्दोलन का कार्यक्रम- गांधी जी ने असहयोग आन्दोलन का कार्यक्रम निम्न प्रकार प्रस्तुत किया था-

  1. सरकारी शिक्षा संस्थाओं का बहिष्कार किया जाए।
  2. विधान मण्डल की बैठकों का बहिष्कार किया जाए।
  3. न्यायालयों का बहिष्कार हो।
  4. विदेशी वस्तुओं को त्याग दिया जाए तथा स्वदेशी वस्तुएँ अपनाई जाएँ।
  5. सरकारी नौकरियों तथा उपाधियों का त्याग किया जाए।
  6. देश में राष्ट्रीय शिक्षा संस्थान स्थापित किए जाएँ।
  7. जन-जागरण के लिए सार्वजनिक सभाएँ तथा जुलूसों की व्यवस्था की जाए।

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